अगर आपने कभी शेयर बाजार की खबरें देखी हैं तो शायद आपने "IPO" या "आईपीओ" का जिक्र सुना होगा। ये वही प्रक्रिया है जब कोई नई कंपनी पहली बार अपने शेयर जनता को बेचती है। यानी, कंपनी निजी से सार्वजनिक बनती है और आप भी इसका हिस्सा खरीद सकते हैं।
बिल्कुल वैसा ही जैसे आप किसी दुकान में नया प्रोडक्ट देखकर उसे पहले खरीदारों में से एक बनते हैं, वैसे ही आईपीओ में आप शुरुआती निवेशकों में शामिल हो सकते हैं। यह समय-समय पर कई कंपनियों के लिए फंड जुटाने का मुख्य तरीका होता है।
पहले कंपनी अपने शेयरों की कीमत तय करती है, फिर वह इन शेयरों को ब्रोकर या डीलर के माध्यम से मार्केट में लाती है। आप किसी भी सिंगल प्लेटफ़ॉर्म जैसे ज़ेरोधा, अपस्टॉक्स या एंजेलबाइंड पर अपना ट्रेडिंग अकाउंट खोल कर आवेदन कर सकते हैं। आवेदन करने की आख़िरी तिथि तक आपका फ़ॉर्म जमा होना चाहिए, उसके बाद allotment यानी शेयरों का वितरण होता है।
यदि आपके पास पर्याप्त फंड और सही दस्तावेज़ हैं तो आप आसानी से आईपीॉ में भाग ले सकते हैं। ध्यान रखें, सभी आवेदकों को शेयर नहीं मिलते; ब्रोकर अक्सर लॉट्स (जैसे 10 या 20 शेयर) के आधार पर allot करता है। इसलिए कभी‑कभी आपको पूर्ण allotment नहीं भी मिल सकता।
पहला कदम कंपनी की प्रॉस्पेक्टस पढ़ना है। इसमें कंपनी का बिज़नेस मॉडल, फाइनेंशियल्स, मार्केट पोजिशन और जोखिम कारक लिखे होते हैं। अगर आप समझ पाएँ कि कंपनी किस समस्या को हल करने वाली है और उसका भविष्य उज्ज्वल दिख रहा है तो निवेश सुरक्षित हो सकता है।
दूसरा, प्राइसिंग पर ध्यान दें। अक्सर शुरुआती कीमतें थोड़ी अधिक रखी जाती हैं ताकि फंड जल्दी जुट जाए। इसलिए लिस्टिंग के बाद शेयर की कीमत गिरने का जोखिम रहता है। अगर आप दीर्घकालिक निवेश कर रहे हैं तो अस्थायी गिरावट को झेलना पड़ सकता है, लेकिन यदि आप अल्पकालिक लाभ चाहते हैं तो सावधानी बरतें।
तीसरा, ब्रोकर के चार्जेज़ देखें। कुछ ब्रोकर्स में डिमैट फीस, ट्रांजैक्शन चार्ज आदि होते हैं जो आपके कुल रिटर्न को घटा सकते हैं। कम खर्च वाला ब्रोकर चुनना फायदेमंद रहता है।
अंत में, अपने पोर्टफोलियो में विविधता रखें। सिर्फ एक ही आईपीओ पर सारा पैसा लगाना जोखिमभरा हो सकता है। कई कंपनियों के शेयरों को अलग‑अलग हिस्से में बाँट दें ताकि किसी एक की खराब प्रदर्शन से आपका पूरा निवेश न घटे।
संक्षेप में, आईपीओ नई कंपनियों में प्रवेश का शानदार मौका देता है, लेकिन इसे समझदारी और सावधानी से करना चाहिए। सही जानकारी, उचित योजना और भरोसेमंद ब्रोकर के साथ आप अपने निवेश को बढ़ा सकते हैं। अब जब आपको मूल बातें पता चल गई हैं, तो अगली बार जब कोई कंपनी आईपीओ लॉन्च करे, तो इस गाइड को याद रखें और आत्मविश्वास से आगे बढ़ें।
हुंडई मोटर इंडिया का आईपीओ 15 अक्टूबर को खुलने जा रहा है। यह पूरी तरह से 14.2 करोड़ शेयरों का ऑफर-फॉर-सेल है और कोई नई इश्यू नहीं है। आईपीओ का मूल्य बैंड 1,865-1,960 रुपये प्रति शेयर तय किया गया है। हालांकि ग्रे मार्केट में इसका प्रीमियम 90% तक गिर गया है, ब्रोकरेज हाउसेज ने इसे 'सब्सक्राइब' रेटिंग दी है। (आगे पढ़ें)
FirstCry, जो Brainbees Solutions Ltd द्वारा संचालित है, ने शेयर बाजारों में अपनी मजबूत शुरुआत की है। इसके शेयर आईपीओ मूल्य से 40% प्रीमियम पर सूचीबद्ध हुए। आईपीओ को 12.2 गुना ओवरसब्सक्राइब किया गया था, जिससे 4193.7 करोड़ रुपये की राशि जुटाई गई। आईपीओ की यह सफलता कंपनी के भविष्य की संभावनाओं में नए विश्वास को दर्शाती है। (आगे पढ़ें)